रायपुर, मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने शनिवार शाम भारतीय प्रबंध संस्थान (IIM) रायपुर में आयोजित चिंतन शिविर 2.0 के पहले दिन की समाप्ति पर एक नई पहल की शुरुआत की। उन्होंने संस्थान परिसर में ‘सुशासन वाटिका’ का उद्घाटन किया और मंत्रिमंडल के सदस्यों के साथ मौलश्री का पौधा रोपित किया।
मुख्यमंत्री के साथ उपमुख्यमंत्री अरुण साव और विजय शर्मा, वन मंत्री केदार कश्यप, वित्त मंत्री ओपी चौधरी, उद्योग मंत्री लखनलाल देवांगन, कृषि मंत्री रामविचार नेताम, खाद्य मंत्री दयालदास बघेल, स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल, राजस्व मंत्री टंकाराम वर्मा, महिला एवं बाल विकास मंत्री लक्ष्मी राजवाड़े सहित मुख्यमंत्री के सचिव राहुल भगत और आईआईएम रायपुर के निदेशक प्रो. राम कुमार कांकाणी ने भी मौलश्री पौधरोपण में भाग लिया।
मौलश्री वृक्ष: प्रकृति और संस्कृति का संगम
मौलश्री एक सदाबहार और सुगंधित फूलों वाला वृक्ष है, जो दक्षिण एशिया में विशेष रूप से लोकप्रिय है। इसकी ऊंचाई 10 से 15 मीटर तक होती है। सफेद या पीले रंग के छोटे फूलों से युक्त यह वृक्ष रात के समय विशेष रूप से सुगंधित होता है। मौलश्री का उपयोग पारंपरिक रूप से मंदिरों और घरों के आसपास शुद्धता और शांति के प्रतीक के रूप में किया जाता रहा है। इसके औषधीय गुण भी महत्वपूर्ण हैं, जिनका उपयोग आयुर्वेदिक उपचारों में किया जाता है।
पर्यावरणीय और नैतिक संदेश
सुशासन वाटिका की स्थापना न केवल हरियाली को बढ़ावा देने की पहल है, बल्कि यह प्रशासनिक नैतिकता, पारदर्शिता और लोकहित को दर्शाने वाली एक प्रतीकात्मक पहल भी है। चिंतन शिविर के साथ इस तरह की हरित शुरुआत शासन की दूरदर्शिता और संवेदनशीलता को प्रकट करती है।