खैरागढ़-राजनांदगांव: छत्तीसगढ़ के खैरागढ़-राजनांदगांव जिले से जैव विविधता के क्षेत्र में बड़ी खबर सामने आई है। चार साल बाद यहां एक बार फिर दुर्लभ हिमालयी प्रवासी पक्षी इंडियन ब्लू रॉबिन (Indian Blue Robin) को देखा गया है। यह घटना न केवल पक्षी प्रेमियों के लिए उत्साहजनक है, बल्कि क्षेत्र की जैव विविधता के लिए भी एक अहम संकेत मानी जा रही है।
इंडियन ब्लू रॉबिन हर साल अक्टूबर में हिमालय से दक्षिण भारत की ओर प्रवास करता है और अप्रैल के अंत तक वापस लौट जाता है। मध्य भारत में इसका देखा जाना बेहद दुर्लभ है, जिससे खैरागढ़ क्षेत्र में इसकी मौजूदगी खास मायने रखती है। इससे पहले यह पक्षी 1991, 2020 और 2021 में रायपुर और 2015 में नारायणपुर में नजर आया था।
मालाबार पाइड हॉर्नबिल का भी मिला झुंड
उधर, डोंगरगढ़-खैरागढ़ के जंगलों में मालाबार पाइड हॉर्नबिल (Malabar Pied Hornbill) की बड़ी संख्या में मौजूदगी दर्ज की गई है। इस विशाल और संकटग्रस्त पक्षी को IUCN की रेड लिस्ट में शामिल किया गया है। हाल ही में इसे 20 के झुंड में देखा गया, जो इस क्षेत्र की समृद्ध जैव विविधता का परिचायक है।
विशेषज्ञों के मुताबिक, खैरागढ़ और उसके आसपास के इलाकों में अब तक 295 पक्षी प्रजातियों की पहचान की जा चुकी है। यह दर्शाता है कि यह इलाका न केवल पक्षियों के लिए, बल्कि समग्र पर्यावरण संरक्षण की दृष्टि से भी अत्यंत महत्वपूर्ण बनता जा रहा है। यदि संरक्षण कार्यों को और मजबूती दी जाए, तो यह क्षेत्र जल्द ही भारत के प्रमुख बर्ड वॉचिंग स्थलों में शामिल हो सकता है।