नई दिल्ली : त्रिनिदाद और टोबैगो में भारतीय समुदाय के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संदेश भारतीयों के दिलों में एक नई ऊर्जा और प्रेरणा का संचार कर रहा है। प्रधानमंत्री ने इस खूबसूरत द्वीप राष्ट्र में भारतीय समुदाय के समर्पण और संघर्ष की सराहना करते हुए कहा कि उनकी यात्रा एक साहसिक यात्रा है, जो न केवल भारत के इतिहास से जुड़ी है बल्कि वर्तमान में भी भारतीयों की मेहनत और संघर्ष का प्रतीक है।
“चंदा मामा दूर के नहीं…”
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने संबोधन की शुरुआत में कहा, “मैं कुछ समय पहले ही गुनगुनाते पक्षियों की इस खूबसूरत भूमि पर आया हूं। और मेरा पहला संवाद यहां के भारतीय समुदाय के साथ है। यह पूरी तरह से स्वाभाविक लगता है क्योंकि हम एक परिवार का हिस्सा हैं।” यह वाक्य भारतीयों के बीच गहरी भावनात्मक जुड़ाव का प्रतीक है। इसके बाद उन्होंने भारतीय समुदाय की साहसिक यात्रा की तारीफ करते हुए कहा कि यह यात्रा न केवल भारत के समृद्ध इतिहास को बल्कि उसकी भविष्य की दिशा को भी दर्शाती है।
UPI की उपलब्धि पर गर्व
प्रधानमंत्री मोदी ने त्रिनिदाद और टोबैगो के लोगों को शुभकामनाएं दीं कि वह UPI को अपनाने वाला पहला देश बन चुका है। उन्होंने कहा, “अब, पैसे भेजना गुड मॉर्निंग टेक्स्ट मैसेज भेजने जितना आसान हो जाएगा।” इसके साथ ही उन्होंने मजाकिया अंदाज में कहा, “मैं वादा करता हूं कि यह वेस्टइंडीज की गेंदबाजी से भी तेज होगा।” मोदी का यह बयान दर्शाता है कि भारत सिर्फ टेक्नोलॉजी में ही नहीं, बल्कि पूरी दुनिया में अपनी उपस्थिति दर्ज करवा रहा है।
भारत की बढ़ती अर्थव्यवस्था और अंतरिक्ष के क्षेत्र में भविष्य की उम्मीदें
प्रधानमंत्री मोदी ने भारतीय अर्थव्यवस्था की तेजी से वृद्धि का उल्लेख करते हुए कहा कि भारत जल्द ही दुनिया की शीर्ष तीन अर्थव्यवस्थाओं में शामिल होगा। उन्होंने कहा, “भारत ने साबित कर दिया है कि हम गरीबों को सशक्त बनाकर गरीबी को हरा सकते हैं।” इसके साथ ही उन्होंने यह भी बताया कि विश्व बैंक ने नोट किया है कि भारत ने पिछले दशक में 250 मिलियन से अधिक लोगों को अत्यधिक गरीबी से बाहर निकाला है।
भारत के भविष्य को लेकर पीएम मोदी ने अपनी उम्मीदें जाहिर करते हुए कहा, “वो समय अब दूर नहीं है कि जब कोई भारतीय चंद्रमा पर पहुंचेगा और भारत का अपना अंतरिक्ष स्टेशन होगा।” उन्होंने कहा, “हम अब तारों को सिर्फ गिनते नहीं हैं, आदित्य मिशन के रूप में उनके पास जाने का प्रयास करते हैं। हमारे लिए अब चंदा मामा दूर के नहीं है। हम अपनी मेहनत से असंभव को भी संभव बना रहे हैं।”
सामुदायिक सशक्तिकरण और भविष्य की दिशा
प्रधानमंत्री मोदी ने इस अवसर पर भारतीय समुदाय को न केवल उनकी मेहनत का पुरस्कार दिया बल्कि उन्हें विश्वास दिलाया कि भारत आने वाले समय में और भी बड़े कार्यों को अंजाम देगा। उन्होंने यह भी बताया कि भारतीय युवाओं का जोश और नवोन्मेषी विचार देश की शक्ति और भविष्य को आकार देंगे। पीएम मोदी का यह संबोधन एक स्पष्ट संकेत है कि भारत न केवल अपनी अर्थव्यवस्था को मजबूत कर रहा है, बल्कि यह देश विज्ञान, टेक्नोलॉजी और अंतरिक्ष क्षेत्र में भी नई ऊंचाइयों तक पहुंचने के लिए तैयार है।