Sanae Takaichi: जापान ने राजनीतिक इतिहास रचते हुए अपनी पहली महिला प्रधानमंत्री साने ताकाइची को चुना है। पीएम नरेंद्र मोदी ने उन्हें इस ऐतिहासिक सफलता पर बधाई दी और भारत-जापान विशेष रणनीतिक साझेदारी को और मजबूत करने की इच्छा जताई।
संसदीय चुनाव और बहुमत
साने ताकाइची को जापान की संसद के दोनों सदनों—उच्च सदन और निचले सदन—में बहुमत प्राप्त हुआ। उच्च सदन में उन्हें 125 वोट मिले, जबकि आवश्यक बहुमत से केवल एक अधिक। निचले सदन में 237 वोट प्राप्त हुए। इससे पहले, उन्होंने लिबरल डेमोक्रेटिक पार्टी (एलडीपी) की नेता के रूप में भी चुनाव जीता, जिसमें उन्हें 185 वोट मिले थे। अब वे पूर्व प्रधानमंत्री शिगेरु इशिबा के शेष कार्यकाल (सितंबर 2027 तक) को पूरा करेंगी।
साने ताकाइची का राजनीतिक सफर
साने ताकाइची ने 1993 में निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में राजनीति में कदम रखा और लगातार सक्रिय रही। 1996 में उन्होंने एलडीपी में शामिल होकर अपनी राजनीतिक पकड़ मजबूत की। वे पूर्व प्रधानमंत्री शिंजो आबे के नेतृत्व में कैबिनेट में ओकिनावा और उत्तरी क्षेत्रों की मंत्री रही हैं। इसके अलावा, वे एलडीपी की नीति अनुसंधान परिषद की पहली महिला अध्यक्ष और 2022–2024 तक जापान की आर्थिक सुरक्षा मंत्री भी रही हैं।

पीएम मोदी ने दी बधाई
पीएम मोदी ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर लिखा, “साने ताकाइची, जापान की प्रधानमंत्री चुने जाने पर आपको हार्दिक बधाई। मैं भारत-जापान विशेष रणनीतिक और वैश्विक साझेदारी को और मजबूत करने के लिए आपके साथ काम करने के लिए उत्सुक हूं। हमारे गहरे संबंध हिंद-प्रशांत और उसके बाहर शांति, स्थिरता और समृद्धि के लिए महत्वपूर्ण हैं।”

आर्थिक और राजनीतिक चुनौतियां
ताकाइची ऐसे समय में प्रधानमंत्री बनी हैं जब जापान आर्थिक मंदी, बढ़ती महंगाई और येन के मूल्य में गिरावट जैसी चुनौतियों का सामना कर रहा है। इसके साथ ही, एलडीपी को हालिया चुनावों में हार का सामना करना पड़ा है, जिससे पार्टी नेतृत्व पर सवाल उठे हैं। ऐसे कठिन समय में, ताकाइची को पार्टी को एकजुट रखना, अल्पसंख्यक सरकार कुशलता से चलाना और जनता में विश्वास बनाए रखना चुनौतीपूर्ण कार्य होगा।
प्रेरणा और प्रतीक
साने ताकाइची का यह उत्थान न केवल महिलाओं के लिए बल्कि उन युवाओं के लिए भी प्रेरणा है, जो राजनीतिक परिवार से नहीं आते और जिन्होंने राजनीति में कदम रखा है। उनके नेतृत्व को अब जापान की स्थिरता और विकास के लिहाज से महत्वपूर्ण माना जा रहा है।