नई दिल्ली: Pradhan Mantri Matsya Sampada Yojana : केंद्र की मोदी सरकार ने मत्स्य पालन को बढ़ावा देने के लिए कई महत्वपूर्ण योजनाएं तैयार की हैं। केंद्रीय मत्स्य पालन, पशुपालन और डेयरी मंत्री राजीव रंजन सिंह ने सोमवार को प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना (PMMSY) के अंतर्गत 7 कोस्टल स्टेट और केंद्र शासित प्रदेशों के लिए 255.30 करोड़ रुपये की लागत वाले प्रमुख प्रोजेक्ट्स का उद्घाटन और शिलान्यास करने की घोषणा की है।
मुंबई में आयोजित होने वाली कोस्टल स्टेट समिट में नई योजनाओं का शुभारंभ
राजीव रंजन सिंह 29 अप्रैल को मुंबई में आयोजित होने वाली कोस्टल स्टेट समिट में समुद्री मत्स्य पालन को मजबूत करने और पर्यावरण-अनुकूल प्रक्रियाओं को बढ़ावा देने के उद्देश्य से प्रमुख योजनाओं की शुरुआत करेंगे। इन योजनाओं में समुद्री मत्स्य पालन जनगणना अभियान, मछली पकड़ने के दौरान कछुओं को अलग करने के लिए उपकरण (TED) लगाने का प्रोजेक्ट और पोत संचार और सपोर्ट सिस्टम के लिए मानक संचालन प्रक्रिया (SOP) जारी करना शामिल है।

इको फ्रेंडली और क्लाइमेट स्मार्ट तरीके से काम करने की दिशा में कदम
इस कार्यक्रम में मत्स्य पालन और पशुपालन राज्य मंत्री एस पी सिंह बघेल और जॉर्ज कुरियन भी उपस्थित होंगे। साथ ही, उत्कृष्ट सहकारी समितियों, मत्स्य पालन किसान उत्पादक संगठनों, स्टार्टअप्स और तटीय मछली पकड़ने वाले गांवों को सर्टिफिकेट दिए जाएंगे।
प्रधानमंत्री मत्स्य किसान समृद्धि सह-योजना के तहत एक्वा इंश्योरेंस की शुरुआत
प्रधानमंत्री मत्स्य किसान समृद्धि सह-योजना (PMMKSSY) के तहत लाभार्थियों को एक्वा इंश्योरेंस सर्टिफिकेट और किसान क्रेडिट कार्ड (KCC) भी प्रदान किए जाएंगे। इस योजना के तहत पहली बार एक्वा इंश्योरेंस की शुरुआत की गई है, जो मत्स्य किसानों को वित्तीय सुरक्षा प्रदान करेगी। यह पहल समुद्री क्षेत्र में काम करने वाले समुदायों के लिए टारगेटेड इंश्योरेंस कवरेज, डिजिटल पहुंच और केंद्रित समर्थन सुनिश्चित करेगी।

तटीय क्षेत्रों में विकास और सस्टेनेबल मत्स्य पालन को बढ़ावा देने की दिशा में अहम कदम
कार्यक्रम में महाराष्ट्र, गुजरात, गोवा, कर्नाटक, आंध्र प्रदेश, ओडिशा और पुडुचेरी के मत्स्य पालन मंत्री तथा राज्य सरकार के अधिकारी उपस्थित रहेंगे। यह बैठक क्षेत्र-विशिष्ट समस्याओं का समाधान करने, तटीय पारिस्थितिकी प्रणालियों के अनुरूप आधुनिक और पर्यावरण-अनुकूल दृष्टिकोणों को बढ़ावा देने और मत्स्य पालन क्षेत्र में आजीविका के अवसरों, प्रोडक्टिविटी और दीर्घकालिक आर्थिक वृद्धि को बढ़ाने के लिए एक महत्वपूर्ण मंच के रूप में काम करेगी।