पं. रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय में नवाचार एवं उद्यमिता पर विशेष सत्र आयोजित
रायपुर। 17 नवंबर 2025। पं. रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय, रायपुर में स्वावलंबी भारत अभियान के अंतर्गत “आत्मनिर्भर भारत में युवाओं की भूमिका : नवाचार और उद्यमिता” विषय पर विशेष सत्र एवं परिचर्चा का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का आयोजन विश्वविद्यालय के इंस्टीट्यूट इनोवेशन काउंसिल (IIC) द्वारा किया गया, जिसमें छत्तीसगढ़ के उच्च शिक्षा मंत्री टंक राम वर्मा मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए। आयोजन में उच्च शिक्षा विभाग के सचिव डॉ. एस. भारतीदासन, विश्वविद्यालय के अधिकारी-कर्मचारी और बड़ी संख्या में छात्र शामिल रहे।
युवाओं में नवाचार और स्टार्टअप संस्कृति को बढ़ावा देने पर जोर
इस सत्र का मुख्य उद्देश्य विद्यार्थियों में नवाचार, स्टार्टअप संस्कृति और उद्यमशीलता की भावना को प्रोत्साहित करना था, ताकि युवा आत्मनिर्भर भारत मिशन में सक्रिय रूप से योगदान दे सकें। विशेषज्ञ वक्ताओं, विश्वविद्यालय पदाधिकारियों और इनोवेशन से जुड़े प्रतिनिधियों ने भी अपने विचार साझा किए।
“युवा नवाचार ही आत्मनिर्भर भारत की असली शक्ति” — वर्मा
अपने संबोधन में मंत्री टंक राम वर्मा ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आत्मनिर्भर भारत के संकल्प को युवाओं की नवाचार क्षमता और उद्यमिता के माध्यम से ही साकार किया जा सकता है। उन्होंने स्वदेशी उत्पादों के उपयोग को देश की आर्थिक मजबूती का मूल आधार बताया।
कोविड काल का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि संकट को अवसर में बदलने की सोच ने भारत को विश्व का पहला ऐसा देश बनाया जिसने अपनी धरती पर ही कोविड वैक्सीन विकसित कर वैश्विक नेतृत्व का परिचय दिया।
युवाओं के लिए उद्यमिता में अपार अवसर
मंत्री वर्मा ने कहा कि
“आज नवाचार आधारित उद्यमिता न केवल नए उद्योग खड़े कर रही है, बल्कि स्थानीय संसाधनों के बेहतर उपयोग और रोजगार सृजन का बड़ा माध्यम भी बन रही है।”
उन्होंने केंद्र सरकार की स्टार्टअप इंडिया, मेक इन इंडिया, डिजिटल इंडिया, मुद्रा योजना, और स्टैंडअप इंडिया जैसी पहलों को युवाओं के लिए सुनहरा अवसर बताया।
उन्होंने कहा कि भारत के युवा एआई, रोबोटिक्स, ड्रोन, फिनटेक, एग्रीटेक और बायोटेक जैसे क्षेत्रों में विश्व नेतृत्व की क्षमता रखते हैं।
जोखिम, दृष्टि और परिश्रम—उद्यमिता की अनिवार्य नींव
मंत्री वर्मा ने कहा कि उद्यमिता का वास्तविक आधार जोखिम लेने का साहस, स्पष्ट दृष्टि और सतत परिश्रम है। उन्होंने विफलताओं को सीखने का अवसर बताते हुए युवाओं को आगे बढ़ते रहने की प्रेरणा दी।
वर्ष 2047 तक विकसित राज्य का लक्ष्य
मंत्री वर्मा ने बताया कि मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में छत्तीसगढ़ को वर्ष 2047 तक विकसित राज्य के रूप में स्थापित करने हेतु राज्य सरकार द्वारा कई नवाचार एवं युवा-केंद्रित कार्यक्रम संचालित किए जा रहे हैं।
इसी श्रृंखला में उन्होंने घोषणा की कि स्वामी विवेकानंद जयंती (12 जनवरी) के अवसर पर सभी विश्वविद्यालयों में “रन फॉर स्वदेशी” का आयोजन किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि देश को केवल नौकरी तलाशने वाले नहीं, बल्कि नौकरी देने वाले युवा चाहिए। विकसित भारत का भविष्य युवा शक्ति के नवाचार पर आधारित है।
छात्रों को मिला स्टार्टअप और नवाचार का मार्गदर्शन
कार्यक्रम के दौरान विद्यार्थियों को स्टार्टअप मार्गदर्शन, नवाचार की प्रक्रिया, सफल उद्यमशील अनुभवों तथा विभिन्न सरकारी योजनाओं की विस्तृत जानकारी प्रदान की गई।
अंत में IIC ने छात्रों से नवाचार और उद्यमिता गतिविधियों में सक्रिय भागीदारी का आह्वान किया।
